आप हो सकती है विदा: सिर्फ़ 21 नहीं इस 27 और विधायकों को दिए अनैतिक लाभ के पद। सबूतों के साथ दाख़िल मामला।
दिल्ली सरकार की मुश्किलें थमने का नाम नहीं ले रही है. अब कानून के छात्र विभोर आनंद ने चुनाव आयोग में आम आदमी पार्टी के 27 विधायकों के खिलाफ ऑफिस ऑफ प्रॉफिट के तहत एक नई शिकायत की है.
कानून के छात्र ने की शिकायत
विभोर आनंद नाम के कानून के छात्र की तरफ से दायर की गई शिकायत में कहा गया है कि अलग-अलग इलाके के सरकारी अस्पतालों में 27 विधायक रोगी कल्याण समिति के अध्यक्ष बनाए गए. जबकि केंद्र सरकार की 2015 की गाइडलाइंस के हिसाब से सिर्फ स्वास्थ्य मंत्री, क्षेत्रीय सांसद, जिला पंचायत अध्यक्ष या फिर जिलाधिकारी ही रोगी कल्याण समिति का अध्यक्ष बन सकते हैं.
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27 विधायकों को हर अस्पताल में मिला ऑफिस
क्षेत्रीय विधायक केवल इस समिति का सदस्य ही बन सकता है या मनोनीत किया जा सकता है. सभी 27 विधायकों को हर अस्पताल में ऑफिस की जगह दी गई है. कई अधिकारी इस पर अपना विरोध भी जता चुके हैं.
पांच अस्पतालों की अध्यक्ष हैं अलका लांबा
अलका लांबा को पांच अस्पतालों में समिति का अध्यक्ष बनाया गया है. जरनैल सिंह को दो अस्पतालों में अध्यक्ष बनाया गया है. नरेश यादव भी अध्यक्ष हैं. इनका नाम पार्लियामेंट्री सेक्रेटरी वाले पिछले ऑफिस ऑफ प्रॉफिट मामले में भी शामिल है.
रोगी कल्याण समिति के अधिकार
1. अस्थायी कर्मचारियों की भर्ती करने का अधिकार. इसमें डॉक्टर भी शामिल हैं.
2. अस्पताल परिसर में मौजूद सारी दूकान किराए/लीज पर देने का अधिकार. उसकी कमाई समिति के पास आती है.
3. अस्पताल में 2 लाख तक के निर्माण का काम समिति के अध्यक्ष की मंजूरी से.
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पार्लियामेंट्री सेक्रेटरी और रोगी कल्याण समिति ऑफिस ऑफ प्रॉफिट : दोनों शिकायत में कॉमन 8 विधायक.
1. शिव चरण गोयल
2. अजेश यादव
3. जरनैल सिंह
4. अलका लांबा
5. कैलाश गहलोत
6. अनिल कुमार बाजपेई
7. राजेश गुप्ता
8. नरेश यादव
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